Wednesday, November 11, 2009

सदन से भी क्यों मांगते हो माफ़ी

हिंदू, हिन्दी, हिन्दुश्थान ही रहेगा सबसे ऊँचा
भोपाल। अभी-अभी महाराष्ट्र विधानसभा में फ़िर हंगामा हुआ। अफ़सोस की बात है की ये हंगामा उनके द्वारा ही किया गया, जिन्होंने मंगलवार को विधायक अबू काज़मी के साथ मारपीट की थी। महाराष्ट्र की नवगठित विधानसभा के विशेष सत्र के अंतिम दिन आज विपक्षी शिवसेना व भाजपा के विधायकों ने शिवसेना प्रमुख बाल ठाकरे के खिलाफ़ समाजवादी पार्टी विधायक अबू आसिम आजमी की कथित विवादास्पद टिप्पणी को लेकर काफ़ी हंगामा मचाया और अबू आजमी की गिरफ्तारी की मांग की। अब ये लोग
अपने आका बाल ठाकरे को सामने रखकर ख़ुद को जनता के सामने पाक साफ घोषित करना चाहते हैं। अब काग रहे हैं की वे सदन से माफ़ी मांग लेंगे लेकिन अबू काज़मी से माफ़ी नहीं मंगेंगऐ। में तो खटा हबन की सदन से भी क्यों माफ़ी मांग रहे हो। क्योंकि शर्मशार तो सदन को किया था। अबू काज़मी भी कोई ढूढ़ के धुले नही होंगे लेकिन सदन क्यों इन विधायक रूपी गुंडों को सहे।
सुबह के सत्र में शिवसेना विधायक दल के नेता सुभाष देसाई और सदन में विपक्ष के नेता एकनाथ खड़से भाजपा के नेतृत्व में सदस्यों की नारेबाजी और हंगामे के बीच सदन की कार्रवाई तीन बार स्थगित करनी पड़ी. श्री आजमी ने कल कथित रूप से संवाददाताओं से कहा था कि बाल ठाकरे बूढ़े हो चले हैं और बच्चों की तरह बातें करते हैं. श्री आजमी ने यह शिवसेना के मुखपत्र मराठी दैनिक सामना में छपे संपादकी के बारे में पूछने पर यह कथित टिप्पणी की थी. शिवसेना विधायकों ने श्री आजमी का विधान भवन के बाहर घेराव किया था पर श्री आजमी ने ऐसी कोई टिप्पणी करने से इनकार किया था. इसी के बाद आज हंगामा हुआ। दरअसल राज ठाकरे के नेतृत्व वाली महाराष्ट्र नवर्निमाण सेना (मनसे) ने आज कहा कि वह अपने कृत्य के लिए सदन से माफी मांगेगी न कि समाजवादी पार्टी के नेता अबु आजमी से, जिन पर मनसे विधायकों ने हमला किया था। अब मनसे नेता अतुल सरपोतदार bअडे नैतिक होने का ढोंग कर रहे हैं और कह रहे हैं की , "हम सदन से माफी मांगेगे क्योंकि हमारा इरादा सदन की छवि को धूमिल करने का नहीं था।

No comments: